अलीगढ़।
जिलाधिकारी सेल्वा कुमारी जे. की अध्यक्षता में कलैक्ट्रेट सभागार में 50 लाख रूपये से अधिक की अपूर्ण एवं निर्माणाधीन परियोजनाओं के सम्बन्ध में बैठक किया गया। डीएम ने निर्माण कार्यों में तेजी लाने के निर्देश देते हुए लम्बित परियोजनाओं को समयबद्ध एवं मानक के अनुरूप गुणवत्तापरक ढ़ंग से पूर्ण करने के निर्देश दिये। उन्होंने कहा कि कार्य में लेटलतीफी एवं भ्रष्टाचार बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। परियोजनाओं को लम्बित रखने से जहां सरकार को आर्थिक क्षति होती है वहीं विकास कार्यों का लाभ जनता को समय से नहीं मिल पाता है।
जिलाधिकारी ने शुक्रवार को कलैक्ट्रेट सभागार में 50 लाख रूपये से अधिक की लागत की परियाजनाओं की समीक्षा करते हुए स्पष्ट किया कि अधिकारी बहानेबाजी छोड़ व्यक्तिगत रूचि के साथ कार्य करें। कार्य में हीलाहवाली करने वाले अधिकारियों के खिलाफ कड़ी कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने यह भी कहा कि ऐसी परियोजनाएं जिन पर धन आवंटन के सापेक्ष कार्य पूर्ण कर लिया गया है, शासन को उपयोगिता प्रमाण पत्र भेज अग्रिम किश्त की धनराशि की पैरवी करें ताकि अवशेष कार्यों को शीघ्र पूर्ण कराया जाए। उन्होंने कार्यदायी संस्थाओं को निर्देशित किया कि यदि परियोजनाओं की स्थापना के लिए भूमि चयन में कोई समस्या है तो वह सीडीओ को अवगत कराएं।
मुख्य विकास अधिकारी अंकित खण्डेलवाल ने बताया कि वर्तमान में 76 परियोजनाओं पर जनपद में कार्य चल रहा है। विस्तृत जानकारी देते हुए उन्होंने बताया कि उ0प्र0 राजकीय निर्माण निगम द्वारा 05, सीएनडीएस द्वारा 04, उ0प्र0 विद्युत कारपोरेशन द्वारा 07, उ0प्र0 समाज कल्याण निर्माण निगम द्वारा 13, आवास विकास परियोजना द्वारा 10, लोक निर्माण विभाग प्रान्तीय खण्ड द्वारा 12, लोक निर्माण विभाग निर्माण खण्ड द्वारा 11, राज्य सेतु निगम द्वारा 03, ग्रामीण अभियंत्रण द्वारा 01, जल निगम द्वारा 06 एवं पैकफेड द्वारा 04 कार्य कराए जा रहे हैं।
बैठक में डीडीयू के उच्चीकरण, सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र अतरौली का उच्चीकरण, क्षेत्रीय विधि विज्ञान प्रयोगशाला का भवन निर्माण, धनीपुर एयरपोर्ट निर्माण, आई ट्रिपल सी भवन निर्माण एवं अचल ताल का सौन्दर्यीकरण, रीजनल ड्राइविंग ट्रेनिंग सेन्टर, इलैक्ट्रिक बस डिपो, बालिका छात्रावास निर्माण, कस्तूरबा गाॅधी बालिका छात्रावास, वृहद गौ संरक्षण केन्द्र, प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र निर्माण, सेखा झील का राष्ट्रीय पक्षी विहार के रूप में विकास, थानों एवं बैरक का निर्माण, आईटीआई भवन निर्माण आदि के साथ ही अन्य परियोजनाओं पर भी विचार विमर्श किया गया। बैठक में कार्यदायी संस्थाओं परियोजना प्रबन्धक एवं सम्बन्धित अधिकारी उपस्थित रहे।
डीएम ने डिफेंस कॉरिडोर, इंडस्ट्रियल स्टेट, राजा महेन्द्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय एवं एयरपोर्ट के कार्यों में तेजी लाने के दिये निर्देश
डिफेंस कॉरिडोर, इंडस्ट्रियल स्टेट, राजा महेन्द्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय, एयरपोर्ट के निर्माण कार्यों में तेजी लाने के उद््देश्य से जिलाधिकारी सेल्वा कुमारी जे. की अध्यक्षता में कलैक्ट्रेट सभागार में बैठक का आयोजन किया गया। डीएम ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि जनपद अलीगढ़ की इन सभी बड़ी परियाजनाओं पर प्रदेश ही नहीं वरन् देश की निगाह है। इन सभी परियोजनाओं की जल्द ही लोकार्पण एवं शिलान्यास होने सम्भावना है। इन बड़े स्तर की राष्ट्रीय परियोजनाओं की स्थापना के बाद अलीगढ़ की तस्वीर ही बदल जाएगी। अलीगढ़ एनसीआर एवं दिल्ली से सटा हुआ होने से विकास की असीम सम्भावनाएं हैं। राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में अन्तर्राष्ट्रीय जेवर एयरपोर्ट बन जाने से औद्योगिक एवं व्यापारिक गतिविधियों में अपेक्षा से कहीं अधिक तेजी आएगी। उन्होंने लम्बित कार्यों को युद्धस्तर पर कार्य कराते हुए पूर्ण करने के निर्देश दिये।
डीएम ने डिफेंस कॉरिडोर परियोजना की समीक्षा करते हुए विद्युत अधिकारियों द्वारा 132 केवीए एवं 233 केवीए के विद्युत स्टेशन का प्रस्ताव तैयार न करने पर आड़े हाथ लेते हुए कड़ी नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने कहा कि उनके निरीक्षण को एक सप्ताह होने को आया है, परन्तु दिये गये निर्देशों का अनुपालन न करना आपकी लापरवाही का द्योतक है। उन्होंने जल्द से जल्द ऐस्टीमेट तैयार करने के निर्देश दिये। वन विभाग को निर्देशित किया गया कि प्लांटेशन के कार्य में तेजी लाएं। डीएम ने जल निकासी की समुचित व्यवस्था करने के निर्देश देते हुए कहा कि भूमि अधिग्रहण में यदि कहीं समस्या है तो उच्चाधिकारियों के संज्ञान में लाने के साथ ही किसानों से संवाद एवं समन्वय स्थापित किया जाए। उन्होंने किसानों से अपील करते हुए कहा कि जनहित एवं राष्ट्रहित की इन परियोजनाओं के विकास में अपना सहयोग करें। एयरपोर्ट निर्माण की समीक्षा करते हुए कार्यदायी संस्था को अवशेष कार्य शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश दिये। उपायुक्त उद्योग श्रीनाथ पासवान ने बताया कि ख्यामई औद्योगिक आस्थान की पुनर्ग्रहित भूमि पर यूपीएसआईसी द्वारा लेआउट तैयार किया जा रहा है। एडीएम प्रशासन डीपी पाल ने बताया कि राजा महेन्द्र प्रताप सिंह राज्य विश्वविद्यालय के निर्माण कार्य के लिए भी एजेंसी का चयन कर लिया गया है, 2023 तक कार्य पूर्ण करना है। बैठक में एसडीएम, एडीएम समेत कार्यदायी संस्थाओं के पदाधिकारी एवं विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।
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