अलीगढ़, 14 जनवरीः एनडीटीवी के प्रख्यात पत्रकार कमाल खान के निधन पर अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय परिसर में शोक की लहर छा गई है और विश्वविद्यालय के शिक्षकों और अधिकारियों ने उनके शोक संतप्त परिवार और प्रियजनों के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त की है। ज्ञात हो कि कमाल खान का आज सुबह उनके लखनऊ स्थित आवास पर एक बड़े हृदयाघात के बाद निधन हो गया।
अमुवि कुलपति प्रोफेसर तारिक मंसूर ने कमाल खान के शोक संतप्त परिवार के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए कहा कि कमाल एक उत्कृष्ट पत्रकार और एक अनुकरणीय इंसान थे जिन्होंने देश के नागरिकों को उनके जीवन, समाज और सरकार के बारे में बेहतर निर्णय लेने के लिए पूरी सकारात्मकता के साथ आवश्यक समाचार और जानकारी प्रदान की। उनके दुखद निधन पर मैं उनके परिवार और पत्रकार बिरादरी के प्रति गहरी संवेदना व्यक्त करता हूं।
एएमयू के रजिस्ट्रार, श्री अब्दुल हमीद (आईपीएस) ने कहा कि कमाल ने हमेशा अपनी ब्रेकिंग न्यूज़ से समकालीन पत्रकारों की युवा पीढ़ी को अचम्भित किया। वह एक रिपोर्टर और ब्यूरो चीफ के बेहतरीन उदाहरण थे। उन्होंने कहा कि संपूर्ण एएमयू समुदाय उनके निधन पर शोकाकुल हैं।
प्रोफेसर पिताबास प्रधान (अध्यक्ष, जनसंचार विभाग) ने कहा कि वह न केवल एनडीटीवी के दिग्गज पत्रकार थे, बल्कि उनका शुमार देश के सर्वश्रेष्ठ पत्रकारों में होता था। उनका निधन हम सभी के लिए एक बड़ी क्षति है।
प्रोफेसर एम शाफे किदवई ने कहा कि कमाल खान के निधन पर देश भर से शोक संदेश भेजे जा रहे हैं परन्तु सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि हम इस कठिन समय में उनके शोकाकुल परीवार के साथ खड़े हैं।
प्रोफेसर आफताब आलम (अध्यक्ष, सामरिक एवं सुरक्षा अध्ययन विभाग) ने कहा कि मैं भी उन लोगों के दुख में शामिल हूं जो कमाल की कार्यशैली को पसन्द करते थे। निश्चित रूप से टेलीविजन समाचारों पर उनके महान व्यक्तित्व की अनुपस्थिति को हमेशा महसूस किया जाएगा।
अंग्रेजी विभाग के अध्यक्ष, प्रोफेसर मोहम्मद आसिम सिद्दीकी ने कहा कि कमाल रामनाथ गोयनका पुरस्कार से सम्मानित थे और उन्हें भारत के राष्ट्रपति द्वारा गणेश शंकर विद्यार्थी पुरस्कार से भी अलंकृत किया गया था। उन्होंने कहा कि जनसंचार क्षेत्र के इन पुरस्कारों से उनकी प्रतिभा की उत्कृष्टता का पता चलता है। उनका निधन पत्रकारिता जगत के लिए दुखद खबर है।
कमाल के शोक संतप्त परिवार, सहकर्मियों एवं मित्रों के प्रति संवेदना व्यक्त करते हुए प्रोफेसर मोहम्मद सज्जाद (इतिहास विभाग) ने कहा कि अपनी अंतर्दृष्टि और अनुभव के साथ कमाल ने हमेशा टेलीविजन समाचारों को बेहतर बनाया। उनके समाचारों के उच्च स्तर तथा उनकी शैली के लिए उन्हें हमेशा याद किया जाएगा।
हिंदी विभाग के श्री अजय बिसारिया ने कहा कि वह ज्ञानी एवं बुद्धिमान पत्रकारों में से एक थे। मैं उनके परिवार और दोस्तों के प्रति दिल की गहराई से संवेदना व्यक्त करता हूं।
जनसंपर्क कार्यालय के एसोसिएट मेम्बर इंचार्ज श्री फैसल फरीद ने कमाल खान के साथ अपने व्यवसायिक संबंधों को याद किया और उन्हें सर्वश्रेष्ठ टीवी पत्रकारों में से एक बताया।
एएमयू के जनसंपर्क अधिकारी श्री उमर पीरजादा ने उनके निधन पर गहरा दुख व्यक्त करते हुए कहा कि भारत ने एक निडर पत्रकार खो दिया है।
कमल के परिवार में उनकी पत्नी रुचि और पुत्र अमन हैं।